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Pahalgam Attack Update : मोहन भागवत की मुलाकात पीएम मोदी से: कश्मीर के निर्णय पर संघ की रणनीति

Pahalgam Attack Update: (Tehelka Desk) पहलगाम आतंकी हमले के बाद आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत की प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात चर्चा में है। माना जा रहा है कि यह मुलाकात सिर्फ औपचारिक नहीं थी, बल्कि जनभावनाओं और राष्ट्रीय सुरक्षा जैसे गंभीर मुद्दों पर सरकार और संघ के बीच समन्वय का संकेत है।

Pahalgam Attack Update : पहलगाम हमले के बाद मोहन भागवत की पीएम मोदी से अहम मुलाकात – जनभावनाओं और सुरक्षा पर चर्चा

Pahalgam Attack Update : पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद देश में आक्रोश का माहौल है। इसी बीच मंगलवार को आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत की प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मुलाकात ने खास ध्यान खींचा। पीएम आवास पर हुई यह बैठक एक घंटे से ज्यादा चली, जिसे सिर्फ औपचारिक मुलाकात नहीं माना जा रहा है। संघ प्रमुख आमतौर पर राजनीतिक नेताओं से सार्वजनिक तौर पर नहीं मिलते, ऐसे में यह मुलाकात और भी खास बन जाती है।

सूत्रों के मुताबिक, 2014 में मोदी के पीएम बनने के बाद यह पहली बार था जब मोहन भागवत उनसे सीधे मिले। बैठक के दौरान भागवत ने पहलगाम हमले पर संघ की चिंता जताई और बताया कि देशभर में हिंदू समाज में गुस्सा और असुरक्षा की भावना बढ़ रही है। उन्होंने प्रधानमंत्री को संघ के सहयोग का भरोसा दिलाते हुए आतंकवाद के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की उम्मीद भी जताई।

Pahalgam Attack Update
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Pahalgam Attack Update : ये वक्त सामान्य नहीं है”: मोहन भागवत की मुलाकात को लेकर आरएसएस का साफ संदेश

Pahalgam Attack Update : पहलगाम आतंकी हमले के बाद मोहन भागवत की प्रधानमंत्री मोदी से मुलाकात को लेकर आरएसएस ने अपना रुख साफ किया है। संघ के एक वरिष्ठ पदाधिकारी ने News18 से बातचीत में कहा, “यह सिर्फ औपचारिक मुलाकात नहीं थी। हालात गंभीर हैं। ज़मीनी स्तर पर तनाव है, और हिंदू समाज खुद को आहत और नाराज़ महसूस कर रहा है।” पदाधिकारी के मुताबिक, संघ मानता है कि ऐसे समय में सरकार के साथ खड़ा रहना बेहद ज़रूरी है, लेकिन साथ ही जनभावनाओं को नज़रअंदाज़ नहीं किया जा सकता।

उन्होंने कहा, “यह इमरजेंसी जैसा समय है, इसलिए खुद भागवत जी ने प्रधानमंत्री से सीधे मुलाकात कर हालात की गंभीरता साझा की।

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Pahalgam Attack Update : मोहन भागवत की मुलाकात सिर्फ एक भेंट नहीं, बड़ा संदेश भी

मोहन भागवत और प्रधानमंत्री मोदी की हालिया मुलाकात सिर्फ एक औपचारिक भेंट नहीं, बल्कि कई मायनों में बेहद अहम मानी जा रही है। यह मुलाकात प्रतीकात्मक होने के साथ-साथ रणनीतिक रूप से भी खास है — लेकिन इसका असली असर इससे मिलने वाले संदेश में छिपा है।

Pahalgam Attack Update : आरएसएस अपने बड़े जनाधार और गहरे वैचारिक प्रभाव के चलते न केवल जनमत बना सकता है, बल्कि ज़रूरत पड़ने पर सरकार को समर्थन देने या दिशा दिखाने की ताकत भी रखता है। यही कारण है कि सरकार भी संघ के रुख को गंभीरता से लेती है। माना जा रहा है कि भागवत की यह मुलाकात सरकार को यह याद दिलाने के लिए थी कि जनभावनाएं आहत हैं, और अब हर कदम सोच-समझकर उठाने की ज़रूरत है — खासकर जब मामला राष्ट्रीय सुरक्षा से जुड़ा हो।

Pahalgam Attack Update : जनता की राय सबसे अहम: सरकार कश्मीर पर जनमत को परख रही है

इन दिनों देश की सुरक्षा और कश्मीर से जुड़ी परिस्थितियाँ एक बार फिर चर्चा में हैं। ऐसे संवेदनशील समय में सरकार कोई भी बड़ा कदम उठाने से पहले जनता के मूड को समझना चाहती है। यही वजह है कि केंद्र सरकार औपचारिक और अनौपचारिक दोनों तरीकों से लोगों की राय जानने की कोशिश कर रही है।

Pahalgam Attack Update : आरएसएस (राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ) के एक वरिष्ठ पदाधिकारी ने कहा, “अगर सरकार को ये लगे कि जनता की ओर से निर्णायक जवाब की मांग हो रही है, तो वह अधिक मजबूती और रणनीति के साथ आगे बढ़ सकती है।” यानी, जनमत – जनता की सोच और भावना – इस पूरे मसले में बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है।

Pahalgam Attack Update : इस कोशिश में संघ से जुड़े संगठन और स्वयंसेवक भी सरकार को फीडबैक दे रहे हैं। साफ है कि सरकार फिलहाल कश्मीर पर कोई बड़ा फैसला लेने से पहले ये समझना चाहती है कि आम लोग क्या सोच रहे हैं, क्या महसूस कर रहे हैं। इसी सिलसिले में संघ प्रमुख मोहन भागवत की हालिया यात्रा को भी देखा जा रहा है। यह इशारा करता है कि संघ केवल बाहर से हालात नहीं देख रहा, बल्कि राष्ट्रीय प्रतिक्रिया को गहराई से समझने और दिशा देने की कोशिश में भी सक्रिय है। सरकार और संघ, दोनों की कोशिश यही है कि कोई भी निर्णय ऐसा न हो जो जनता की भावनाओं के खिलाफ जाए – खासकर तब जब देश एक नाजुक दौर से गुजर रहा हो।

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