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Tehelka Desk(Muskan Kanojia) Israel:
हाल के दिनों में, इस्राइल और ईरान के बीच तनाव में अभूतपूर्व वृद्धि देखी गई है। इजरायल के भारत में राजदूत, रूवेन अजार, ने हाल ही में एक साक्षात्कार में दावा किया कि इस्राइल ने ईरान की एक तीन-स्तरीय योजना को विफल किया है, जिसका उद्देश्य इजरायल को सैन्य और रणनीतिक रूप से कमजोर करना था। इस लेख में, हम इस दावे की जांच करेंगे और समझेंगे कि यह संघर्ष किस दिशा में बढ़ सकता है।
Israel: ईरान की तीन-स्तरीय योजना
- मिसाइल और ड्रोन हमले
ईरान ने इजरायल पर बैलिस्टिक मिसाइलों और ड्रोन के माध्यम से हमले किए, जिनका उद्देश्य इजरायल की सैन्य और नागरिक संरचनाओं को नष्ट करना था। हालांकि, इजरायल के आयरन डोम रक्षा प्रणाली ने अधिकांश हमलों को नाकाम कर दिया, फिर भी कुछ हमलों में नुकसान हुआ।
- क्षेत्रीय प्रॉक्सी समूहों का समर्थन
ईरान ने हिज़्बुल्लाह, हमास और अन्य प्रॉक्सी समूहों को समर्थन प्रदान किया, ताकि वे इजरायल के खिलाफ संघर्ष में भाग लें। इससे इजरायल को एक साथ कई मोर्चों पर संघर्ष करना पड़ा, जिससे उसकी सैन्य क्षमता पर दबाव बढ़ा।
- साइबर हमले और असममित युद्ध
ईरान ने इजरायल की साइबर संरचनाओं पर हमले किए, जिससे महत्वपूर्ण डेटा और प्रणालियाँ प्रभावित हुईं। इसके अतिरिक्त, असममित युद्ध की रणनीति अपनाते हुए, ईरान ने छोटे, मोबाइल इकाइयों के माध्यम से इजरायल की आपूर्ति लाइनों और सैन्य ठिकानों पर हमले किए।
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Israel: इजरायल की प्रतिक्रिया
इजरायल ने इन हमलों का कड़ा जवाब दिया। इजरायल की वायुसेना ने ईरान के महत्वपूर्ण सैन्य और परमाणु ठिकानों पर हवाई हमले किए, जिनमें तेहरान और इस्फ़हान स्थित परमाणु सुविधाएँ शामिल थीं। इसके अलावा, इजरायल ने अपने साइबर सुरक्षा उपायों को मजबूत किया और प्रॉक्सी समूहों के खिलाफ भी कार्रवाई की।
Israel: अंतर्राष्ट्रीय प्रतिक्रिया
संघर्ष के बढ़ने से अंतर्राष्ट्रीय समुदाय में चिंता बढ़ गई है। संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद ने आपातकालीन बैठक बुलाकर दोनों देशों से संयम बरतने की अपील की है। अमेरिका और यूरोपीय देशों ने भी संघर्ष को बढ़ाने वाले किसी भी कदम का विरोध किया है।
Israel: भविष्य की दिशा
यदि दोनों देशों के बीच संघर्ष जारी रहता है, तो यह मध्य पूर्व में एक व्यापक युद्ध का रूप ले सकता है। इससे वैश्विक ऊर्जा आपूर्ति, अंतर्राष्ट्रीय व्यापार और क्षेत्रीय स्थिरता पर गंभीर प्रभाव पड़ सकता है। अंतर्राष्ट्रीय समुदाय को इस स्थिति को शांतिपूर्ण ढंग से हल करने के लिए सक्रिय रूप से मध्यस्थता करनी होगी।
इजरायल के राजदूत रूवेन अजार का दावा कि इस्राइल ने ईरान की तीन-स्तरीय योजना को विफल किया है, इस संघर्ष की गंभीरता और जटिलता को दर्शाता है। यह स्पष्ट है कि दोनों देशों के बीच बढ़ता तनाव न केवल क्षेत्रीय बल्कि वैश्विक सुरक्षा के लिए भी चिंता का विषय बन चुका है। अंतर्राष्ट्रीय समुदाय को इस स्थिति को शांतिपूर्ण ढंग से हल करने के लिए सक्रिय रूप से प्रयास करना होगा।